अररिया – मौसम में आए बदलाव के साथ आप खुद को बदलने के लिए रहें तैयार – डाॅ संतोष कुमार

  • मौसम परिवर्तन से मौसमी बिमारियों का खतरा

नजरिया न्यूज़ भरगामा/अररिया। अचानक मौसम में आए बदलाव के साथ क्या आप खुद को बदलने के लिए तैयार हैं। इसको हल्के में ना लें। मौसम में आया परिवर्तन आपके स्वास्थ्य के लिए नुकसानदायक साबित हो सकता हैं। असल बात यह हैं। कि लोगों में रोगों से लड़ने की क्षमता भी कम होती जा रही हैं। इसी वजह से लोग मौसम में बदलाव के साथ आने वाले संक्रमण रोगों के हमले से निपट नहीं पा रहे हैं। मौसम में बदलाव फ्लू की स्थिति पैदा करता हैं। इसके अलावा वातावरण में एक साथ कई बदलाव आता है यह फ्लू अति संवेदनशील लोगों तक पहुंचने के लिए शरीर के एक निश्चित तापमान का इस्तेमाल करता हैं। जिस कारण शरीर खुद को मौसमी परिवर्तन के लिए अनुकूल करने में विफल साबित होता हैं। इसलिए बैक्टीरिया के संक्रमण और वायरस से प्रभावित होने की संभावना काफी अधिक हो जाती हैं। मौसम में आए बदलाव के कारण स्वास्थ्य की स्थिति में परिवर्तन आना एक गलत सोच हैं। गर्म हवाएं किसी को बीमार बना सकती हैं। तो गर्म स्नान क्यों नहीं ? तापमान अकेले संक्रमण का कारण नहीं हो सकता। दुनिया भर में स्वास्थ्य विशेषज्ञों का मानना हैं। कि ठंड नाक बहने के लिए जिम्मेदार हो सकती हैं। लेकिन मौसम परिवर्तन का कारण भी ठंड हो सकता हैं।

फोटो कैप्शन- चिकित्सा प्रभारी संतोष कुमार

यह पूरी तरह से सही नहीं हैं। इसी तरह बारिश से ठंड लग सकती हैं। लेकिन बारिश बुखार के लिए पूरी तरह से जिम्मेदार नहीं हैं। ठंड के मौसम के शुरुआती दिनों में लोग ज्यादातर घर के अंदर रहते हैं। इस समय में कीटाणुओं के प्रसार की संभावना बढ़ जाती हैं। क्योंकि लोग ज्यादातर ताजा हवा के संपर्क से दूर रहते हैं। दूसरी ओर बाहरी गतिविधियों के गर्म मौसम की स्थिति के साथ ठंडे मौसम की स्थिति से संक्रमण में वृद्धि होती हैं। अधिक बाहरी गतिविधियों का मतलब हैं। अधिक बाहरी तत्वों से जुड़ाव की संभावना। सबसे ज्यादा प्रभावित करने वाले बाहरी तत्वों में से एक हवा में मौजूद जीवाणु हैं। जो सांस की समस्या को बढ़ाकर अस्थमा जैसी स्वास्थ्य समस्याओं की वजह बनते हैं। सिर दर्द और स्ट्रोक जैसे कुछ अन्य प्रमुख बीमारियों का सामना करना पड़ता हैं। जिसकी वजह मौसम में होने वाला बदलाव हैं।

भरगामा चिकित्सा प्रभारी संतोष कुमार ने बताया मौसम परिवर्तन के दौरान प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए सामान्य स्वास्थ्य जटिलताओं का सामना करने के लिए एक रास्ता हैं। इसके लिए उचित आहार, पोषण, शारीरिक व्यायाम जरूरी हैं। इसके अलावा इस तरह के विटामिन सी के रूप में पोषक तत्वों का सेवन जिंक संक्रामक लक्षणों से लड़ने में मदद करता हैं।

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